Friday 18 December 2020

पूरक पोषण के लिए केंद्र २००३ करोड़ रुपए की संशोधित रूपरेखा अनुसार निधि दे

 



मंत्री यशोमती ठाकुर ने केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी से भेंट कर की मांग

 

नई दिल्ली, दिसंबर 18:- केंद्र सरकार को एकात्मिक बाल विकास सेवा योजना के तहत पूरक पोषण कार्यक्रम के लिए वर्ष २०२०-२१ हेतु 2003 करोड़ 91 लाख रुपयों की संशोधित रूपरेखा को मान्यता दें तथा तत्काल यह निधि उपलब्ध कराए, यह मांग महिला व बाल विकास मंत्री एडवोकेट यशोमती ठाकुर ने केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री श्रीमती स्मृति ईरानी से भेंट कर की. कोरोना के कारण निर्माण हुई परिस्थिति को लेकर लाभार्थियों की संख्या में वृद्धि होने के कारण संशोधित रूपरेखा बनाना आवश्यक हो गया और पूरक पोषण कार्यक्रम को सुचारू रूप से जारी रखने के लिए यह निधि समय के भीतर मिलना आवश्यक है, ऐसा भी एडवोकेट ठाकुर ने कहा.

 राज्य के महिला व बाल विकास विभाग की ओर से केंद्रीय मंत्रालय में लंबित विषयों के उपलक्ष्य में मंत्री एडवोकेट ठाकुर ने आज नई दिल्ली में श्रीमती ईरानी के कार्यालय में उनसे भेंट की. इस अवसर पर केंद्रीय महिला व बाल कल्याण मंत्रालय के सचिव राम मोहन मिश्रा, राज्य के महिला बाल विकास विभाग की सचिव श्रीमती इद्जेज़ कुंदन, एकात्मिक बाल विकास सेवा योजना आयुक्त श्रीमती इंदिरा मालो, महिला व बाल कल्याण आयुक्त डा. ऋषिकेश यशोद आदि उपस्थित थे.

       एकात्मिक बाल विकास सेवा योजना के अंतर्गत पूरक पोषण कार्यक्रम के लिए राज्य सरकार ने केंद्र से वर्ष 2020- 21 के लिए मार्च 2020 में 1630 करोड़, दो लाख की वार्षिक परियोजना कार्यान्वयन योजना (एपीआईपी) प्रस्तुत की परंतु कोरोना के फैलाव को लेकर निर्माण परिस्थिति में इसके दायरे को विस्तारित करना पड़ा. अप्रैल 2020 से पूरक पोषण कार्यक्रम के लाभार्थियों की संख्या में सात लाख 27 हजार से अधिक की वृधि हुई है और इस कारण अतिरिक्त निधि का प्रावधान करना आवश्यक हुआ है. इसके लिए संशोधित 2003 करोड़ 91 लाख रुपयों की संशोधित वार्षिक परियोजना कार्यान्वयन रूपरेखा आज मंत्री एडवोकेट ठाकुर ने श्रीमती ईरानी को सौंपी तथा इसे मान्यता देने की विनंती की.

 राज्य सरकार ने इस कार्यक्रम के लिए इस वर्ष 1700 करोड़ रुपयों का प्रधान किया है. कोरोना के चलते महानगरों में काम करने वाले श्रमिकों ने अपने वतन की ओर स्थानांतरण किया है तथा इसके कारण पूरक पोषण के लाभार्थियों में वृद्धि हुई है. साथ ही राज्य के अंतर्गत वास करने वाले परिवार बड़ी संख्या में ग्रामीण संभागों में स्थानांतरित हुए हैं और पूरक पोषण कार्यक्रम से लाभान्वित हो रहे हैं. इससे पूर्व एकात्मिक बाल विकास सेवा योजना (आईसीडीएस) का लाभ नहीं लेने वाले लोग भी अब इस योजना में सम्मिलित हुए हैं. कोरोना के चलते सभी पाठशाला बंद होने के कारण निजी शालाओं के ‘प्ले स्कूल’ में प्रवेशित 3 से 6 वर्ष आयु के बच्चों को पूरक पोषण आहार कार्यक्रम का लाभ दिया जा रहा है. विदित हो कि इन्हें कोरोना से पूर्व यह लाभ नहीं दिया जाता था. अब लाभार्थियों की संख्या एप्रिल 2020 से सात लाख 27 हजार से अधिक बड़ी है. इस कारण संशोधित रूपरेखा के अनुसार अतिरिक्त प्रावधान करने की मांग एडवोकेट ठाकुर ने की.

१५ वे वित्त आयोग अनुसार ५५४ करोड़ रुपये तत्काल दे’

केंद्र सरकार ने 15वें वित्त आयोग की सिफारिशों के अनुसार पोषण कार्यक्रम के अंतर्गत नई योजनाएं कार्यान्वित करने के लिए राज्य को ₹ ५५४ करोड़ मंजूर किए हैं. राज्य सरकार ने इसके लिए 227 करोड रुपयों का प्रावधान किया है परंतु केंद्र सरकार की ओर से अब तक उक्त राशि नहीं मिली है जिसके कारण पूरक पोषण से संबंधित नए उपक्रम शुरू करने में कठिनाइयां आ रही है. इसे सुचारू रूप से जारी करने के लिए उक्त निधि तत्काल मिलना आवश्यक होने की बात भी एडवोकेट ठाकुर ने श्रीमती ईरानी से कहीं.

Centre should provide Rs 2003 crore for supplementary nutrition as per the revised plan

 




Minister Yashomati Thakur demands in ameeting with Union Minister Smriti Irani

 

New Delhi, December 18:- The women and child development minister advocate Yashomati Thakur today demanded the union women and child development Minister Shrimati Smriti Irani  to give approval for rupees 2003 crore and 91 lakhs under the Integrated Child Development Service (ICDS) scheme for the supplementary nutrition program for the year 2020-21. She said that due to the Covid-19 pandemic, the figure of the beneficiary had soar and this had compelled to prepare the revised plan for the Supplementary nutrition program. She also said that it is essential to get the funds within the time period.

Advocate Thakur today met Mrs Irani  in New Delhi in concern with the pending issues of Maharashtra with the Union government related to the woman and child development department, The secretary of union women and child development department Ram Mohan Mishra, secretary of state women and child development department Mrs Idjez Kundan, commissioner of integrated child development services scheme Mrs Indra Mallo, women and child development commissioner Dr Rushikesh Yashod and others were present during the meeting.

The state government had presented the Annual Project Implementation Plan (APIP) to the union government under the ICDS supplementary nutrition program for the year 2020-21 in March 2020 which was about one thousand 630 crore and two lakh rupees but because of the situation created due to Corona, the scope of the Supplementary nutrition program was required to be broadened. Since April 2020 more than seven lakh 27 thousand more beneficiaries are being added and due to this, the provision for more fund is inevitable and thus the revised 2003 crore and 91 lakh rupees plan was today presented by Mrs Thakur to Mrs Irani who also requested her to grant approval. The state government has made the provision of 1700 crore rupees for this program, she informed.

Advocate Thakur said that many laborers working in Metropolitan cities have returned to their native places and this had taken the figure of the beneficiaries of supplementary nutrition up. Similarly, many families in the state had shifted to rural areas and they are also taking benefit of the Supplementary nutrition program. Earlier, those who were not in the list of beneficiaries of Integrated Child Development Services Scheme have now started taking benefit. The children belonging to the playgroup, between the age of 3 to 6 years, who were not benefited under the Supplementary nutrition diet scheme are being added following the close down of schools due to the Corona pandemic and now they are getting the benefit of supplementary nutrition program. Due to this reason, since more than seven lakh 27 thousand beneficiaries are added in this program and as such it is necessary that the funds be provided as per the revised plan, said advocate Thakur.

Released 554 crore immediately

The central government has sanctioned rupees 554 Crore to the state as per the 15th finance commission recommendation for nutrition program and running new scheme under it. Mrs Thakur said that the state government had made a provision of 277 crore rupees for this program but the central government had not yet disbursed the allotted fund. She told Mrs Irani that the Center should release this fund with immediate effect so that the state can undertake new ventures under the Supplementary nutrition program.

 

केंद्राने पूरक पोषणसाठी 2 हजार 3 कोटी रुपयांच्या सुधारित आराखड्यानुसार निधी द्यावा : माहिला व बालविकास मंत्री ॲड. यशोमती ठाकूर







नवी दिल्ली, दि. 18: केंद्र शासनाने एकात्मिक बालविकास सेवा योजनेंतर्गत पूरक पोषण कार्यक्रमासाठी 2 हजार 3 कोटी 91 लाख रुपयांच्या सुधारित आराखड्यास मान्यता देऊन तातडीने निधी द्यावा, अशी मागणी महिला व बालविकास मंत्री ॲड. यशोमती ठाकूर यांनी केंद्रीय महिला व बालविकास मंत्री श्रीमती स्मृती इराणी यांना भेटून केली. कोरोना परिस्थितीमुळे लाभार्थ्यांच्या संख्येत वाढ झाल्यामुळे सुधारित आराखडा करणे भाग पडले असून पूरक पोषण कार्यक्रम सुरळीत ठेवण्यासाठी हा निधी वेळेत मिळणे अत्यंत आवश्यक आहे, असेही ॲड. ठाकूर यावेळी म्हणाल्या.

      राज्याच्या महिला व बालविकास विभागाच्या केंद्रीय मंत्रालयाकडे प्रलंबित असलेल्या विषयांच्या अनुषंगाने मंत्री ॲड. ठाकूर यांनी आज नवी दिल्ली येथे श्रीमती इराणी यांची त्यांच्या कार्यालयात भेट घेतली. यावेळी केंद्रीय महिला व बालविकास मंत्रालयाचे सचिव राम मोहन मिश्रा, राज्याच्या महिला बालविकास विभागाच्या सचिव श्रीमती इद्झेस कुंदन, एकात्मिक बाल विकास सेवा योजना आयुक्त श्रीमती इंद्रा मालो, महिला व बालविकास आयुक्त डॉ. ऋषिकेश यशोद आदी उपस्थित होते.

      एकात्मिक बालविकास सेवा योजनेंतर्गत पूरक पोषण कार्यक्रमासाठी राज्य शासनाने केंद्राकडे सन 2020-21 साठी मार्च 2020 मध्ये 1 हजार 630 कोटी 2 लाख रुपयांचा वार्षिक प्रकल्प अंमलबजावणी आराखडा (एपीआयपी) सादर केला होता. मात्र, कोरोना परिस्थिती निर्माण झाल्याने पूरक पोषण कार्यक्रमाची व्याप्ती वाढवावी लागली आहे. एप्रिल 2020 पासून पूरक पोषण कार्यक्रमाच्या लाभार्थ्यांच्या संख्येत 7 लाख 27 हजाराहून अधिकची वाढ झाली असल्याने निधी वाढवून मिळावा. त्यासाठी सुधारित 2 हजार 3 कोटी 91 लाख रुपयांचा सुधारित वार्षिक प्रकल्प अंमलबजावणी आराखडयाचे निवेदन आज देण्यात. राज्य शासनाने या कार्यक्रमासाठी यावर्षी 1 हजार 700 कोटी रुपयांची तरतूद केली असल्याचेही श्रीमती ठाकूर यांनी बैठकीत सांगितले.

      कोरोना महासाथीच्या काळात महानगरांमध्ये काम करणारे मजूर आपल्या मूळ गावी स्थलांतरित झाल्याने पूरक पोषणच्या लाभार्थ्यांमध्ये वाढ झाली आहे. तसेच काही कुटुंबे राज्यांतर्गत ग्रामीण भागात स्थलांतरित झाली असून ते पूरक पोषण कार्यक्रमाचा लाभ घेत आहेत. यापूर्वी एकात्मिक बाल विकास सेवा योजना (आयसीडीएस) चा लाभ घेत नसलेले घटकही आता या योजनेचा लाभ घेत आहेत. कोरोना महामाथीच्या कालावधीमध्ये सर्व शाळा बंद झाल्यामुळे खासगी शालेय पूर्व अभ्यासक्रमात (प्ले स्कूल) शिकत असलेली 3 ते 6 वर्षे वयोगटातील जी बालके आयसीडीएस सेवांचा लाभ घेत नव्हती त्यांनाही सध्या पूरक पोषण आहार कार्यक्रमाचा लाभ दिला जात आहे. त्यामुळे लाभार्थ्यांच्या संख्येत एप्रिल 2020 पासून 7 लाख 27 हजाराहून अधिकची वाढ झाली असल्याचे ॲङ ठाकूर यांनी केंदीय मंत्री श्रीमती इराणी यांच्या निर्दशनास आणून दिले. त्यामुळे सुधारित आराखड्यानुसार अधिकची तरतूद व्हावी, अशी मागणीदेखील ॲड. ठाकूर यांनी यावेळी केली.

 

पंधराव्या वित्त आयोगानुसार 554 कोटी रुपये निधी तातडीने द्यावा

      केंद्र शासनाने पंधराव्या वित्त आयोगाच्या शिफारशीनुसार पोषण कार्यक्रमांतर्गत नाविन्यपूर्ण योजना राबविण्यासाठी राज्याला 554 कोटी रुपये मंजूर केले आहेत. राज्य शासनाने त्यासाठी 277 कोटी रुपयांची तरतूदही केली आहे. तथापि, केंद्र शासनाने अद्याप तरतूद वितरित केली नाही. पूरक पोषणासाठी नाविन्यपूर्ण उपक्रम हाती घेणे शक्य व्हावे, यासाठी हा निधी तातडीने मिळणे आवश्यक आहे, असेही ॲड. ठाकूर यांनी मंत्री श्रीमती इराणी यांना यावेळी सांगितले.


Tuesday 8 December 2020

राजधानीत ‘संत जगनाडे महाराज’ जयंती साजरी



नवी दिल्ली दि
. 8 :  संत जगनाडे महाराज यांची जयंती आज महाराष्ट्र सदनात साजरी करण्यात आली. 

 कोपर्निकस मार्गस्थित महाराष्ट्र सदनातील सभागृहात आयोजित कार्यक्रमात निवासी आयुक्त तथा अपर मुख्य सचिव श्यायमलाल गोयल यांनी संत जगनाडे महाराज यांच्या प्रतिमेस पुष्पहार अर्पण करून अभिवादन केले. यावेळी उपस्थित गुंतवणूक तथा राजशिष्टाचार आयुक्त निधी पांडे यांच्यासह महाराष्ट्र सदनातील अधिकारी-कर्मचारी यांनीही संत जगनाडे महाराजांच्या प्रतिमेस पुष्प अर्पण करून अभिवादन केले.

महाराष्ट्र परिचय केंद्रात संत जगनाडे महाराज जयंती साजरी

 महाराष्ट्र परिचय केंद्रात संत जगनाडे महाराज  जयंती साजरी करण्यात आली. परिचय केंद्राचे उपसंचालक दयानंद कांबळे यांनी संत जगनाडे महाराज  यांच्या प्रतिमेस पुष्प अर्पण करून अभिवादन केले. यावेळी उपस्थित माहिती अधिकारी अंजु निमसरकर, कमलेश पाटील आणि इतर उपस्थित कर्मचा-यांनी प्रतिमेस पुष्प अर्पण करून अभिवादन केले.


Monday 7 December 2020

दिवाळी अंकांमुळे ‘दिवाळी’ बौध्दिक सण : जीवन तळेगावकर

 











नवी दिल्ली, 7 : दिवाळी अंकांमुळे दिवाळी हा बौध्दिक सण असल्याचे मनोगत जीवन तळेगावकर यांनी दिवाळी विशेषांक प्रदर्शनीच्या उद्घाटन कार्यक्रमात व्यक्त केले.

    महाराष्ट्र परिचय केंद्रात आज दिवाळी विशेषांक प्रदर्शनाचे उद्घाटन लेखक व कवी  जीवन तळेगावकर यांच्या हस्ते करण्यात आले. याप्रसंगी उपसंचालक दयानंद कांबळे यांनी पुष्पगुच्छ देऊन श्री तळेगावकर यांचे स्वागत केले. यासह त्यांना दिवाळी विशेषांकाचा एक संचही भेट स्वरूपात देण्यात आला. यावेळी माहिती अधिकारी अंजु निमसरकर, कमलेश पाटील,  ग्रंथपाल रामेश्वर बरडे तसेच कार्यालयातील कर्मचारी वर्ग उपस्थित होते.

            दिवाळी हा सर्वसामान्य भारतीयांचा प्रमुख सण म्हणुन देशभर साजरा केला जातो.   महाराष्ट्रात दिवाळी निमित्त निघणा-या  दिवाळी विशेषाकांच्या पंरपरेमुळे आता या सणाला बौध्द्कितेची जोड लाभली आहे. महाराष्ट्रात आणि देशभर जिथे मराठी लोक राहतात तिथुनही विशेषांक प्रकाशित केले जातात. असे जवळपास 1500 विशेषांक दरवर्षी प्रकाशित होत असल्याचे श्री तळेगावकर म्हणाले. यंदा कोरोणा मुळे काही विशेषांक प्रकाशित झालेत तर काहींनी आपली कुस बदलून डिजीटल स्वरूपात प्रकाशन केले. डिजीटल स्वरूपातीलही दिवाळी अंकाना मागणी असल्याचे श्री तळेगावकर यांनी सांगितले.

महाराष्ट्रात 1909 पासून सुरू झालेल्या दिवाळी विशेषाकांची पंरपरा आज 111 वर्षापर्यंत पोहोचली.  दिवाळी विशेषांक हा अक्षर सोहळा म्हणुन आता दरवर्षी साजरा होत आहे. वाचकांच्या अभिरूचींना जपत आज जवळपास सर्वच  विषयांवर दिवाळी अंक बाजारात  उपलब्ध आहेत. दिवाळी अंकांमुळे नवोदित लेखकांपासून तर प्रतिष्ठित लेखकांपर्यंतचे विविध विषयांवरील लेखन यामध्ये कथा, कविता, तसेच सामाजिक, राजकीय, सांस्कृतिक विषयांवरील लेख  एकाच अंकात वाचण्याची पर्वणी यानिमित्ताने मिळत असल्याचेही श्री तळेगावकर यावेळी म्हणाले.

महाराष्ट्र परिचय केंद्राच्यावतीने विशेषांक प्रदर्शन ही येथील वाचकांसाठी वाचन महोत्सव असून दिल्ली परिसरातील वाचकांनी याचा जरूर लाभ घ्यावा, असे आवाहनही श्री तळेगावकर यांनी यावेळी केले.

            श्री जीवन प्रकाश तळेगावकर मुळचे नांदेडचे आहेत. तांत्रिक क्षेत्रात काम करीत असूनही विविध विषयांवर ते लिहीत असतात.  कामानिमित्त होणा-या परदेशी दौ-यावर आधारित प्रवासवर्णन दै. उदयाचा मराठवाडा प्रकाशित करीत आहेत. यासह अक्षरनामा या समाजमाध्यमामध्ये विविध विषयांवर ते लिहीत असतात.

अंडर द शॅडो ऑफ विसडम ट्री हे पुस्तक आणि जागतिकीकरणाच्या प्रतीक्षेत मराठी हा कविता संग्रह आहे. या कविता संग्रहातील   साहित्य विषयावरील  माय तत्त्वापासून दूर नेणारं माया तत्त्व अध‍िक दूर......उमेद भरणारं  ! या कवितेचे वाचन त्यांनी यावेळी केले.  श्री तळेगावकर यांनी लिहीलेल्या पुस्तकांच्या प्रती  महाराष्ट्र परिचय केंद्रास भेट स्वरूपात दिल्या.

वाचकांसाठी दिवाळी विशेषांकाचे दालन खुले

महाराष्ट्र परिचय केंद्रातील ग्रंथालयात दिवाळी विशेषांकाचे दालन आजपासून सर्व वाचकांसाठी खुले आहे. यावर्षीच्या  दिवाळी विशेषांकामध्ये धनंजय, जत्रा, साधना, सामना, आवाज, अक्षरधारा, किशोर, प्रपंच, छावा, मैत्र, निनाद, हंस, ऋतुरंग, स्वरप्रतिभा, अंतर्नाद‍ असे एकापेक्षा एक सरस अंक आहेत. कार्यालयीन कामकाजाच्या वेळेत ग्रंथालयातील वाचक सदस्यांसाठी दिवाळी अंक उपलब्ध राहतील.